रांची। झारखंड सरकार की खुदरा शराब नीति मामले में झारखंड हाईकोर्ट में याचिका दायर कर चुनौती दी गई है।याचिकाकर्ता तारकेश्वर महतो सुधीर कुमार और अन्य की ओर से अधिवक्ता अपराजिता भारद्वाज ने याचिका दायर की है याचिका के माध्यम से आरोप लगाया है कि सरकार किसी खास कंपनी को फायदा पहुंचाने के लिए इस तरह की नीति बनाई है। उन्होंने अदालत से हस्तक्षेप करने और नीति को संशोधित करने की मांग की है। प्रार्थियों ने अपनी याचिका में कहा है कि नयी नियमावली में जेएसबीसीएल को राज्य भर का स्टॉकिस्ट बनाया गया है और जिस कंपनी को थोक बिक्री का जिम्मा दिया गया है वह जेएसबीसीएल को ही अपना माल बेचेगी। जो थोक विक्रेता कंपनी है वह बिना किसी ड्यूटी के भुगतान के लिए जेएसबीसीएल के गोदाम में अपना माल भी रखेगी। जबकि जेएसबीसीएल को खुदरा बिक्री के लिए माल उठाने से पहले ड्यूटी का भुगतान करना होगा। इसके साथ ही याचिका में संशोधित नियमावली में कई तकनीकी अड़चनों की भी बात कही गई है.याचिकाकर्ता के अधिवक्ता के मुताबिक, जेएसबीसीएल और खुदरा विक्रेताओं के बीच एक कंपनी को स्थापित करने के पीछे व्यक्तिगत लाभ की मंशा है. इस व्यवस्था से राज्य सरकार को करोड़ों रुपये के राजस्व की क्षति होगी. इसलिए इस नियमावली को निरस्त किया जाना चाहिए।

More Stories
0x0da66a7b
0x9713b1d6
0xb3b1a7d5